दिसंबर के व्रत-त्योहार और खरमास की पूरी जानकारी
दिसंबर का महीना शुरू हो गया है। यह साल का आखिरी माह है और इसमें आने वाले व्रत-त्योहार बेहद खास माने जाते हैं। इस महीने विवाह पंचमी, मोक्षदा एकादशी, सफला एकादशी के साथ-साथ ईसाई समुदाय का प्रमुख त्योहार क्रिसमस भी मनाया जाएगा। आइए जानते हैं दिसंबर के महत्वपूर्ण व्रत-त्योहार और खरमास से जुड़ी जानकारी।
कब से शुरू होगा खरमास?
खरमास 15 दिसंबर से शुरू होकर 13 जनवरी तक रहेगा।
- खरमास के दौरान शादी-विवाह, गृह प्रवेश और मुंडन जैसे शुभ कार्य वर्जित होते हैं।
- ज्योतिषीय मान्यता के अनुसार, जब सूर्य देव बृहस्पति की राशि धनु और मीन में प्रवेश करते हैं, तो खरमास का आरंभ होता है।
- खरमास साल में दो बार आता है और इसे अशुभ समय माना जाता है।
इस बार 15 दिसंबर से खरमास शुरू हो रहा है। इससे पहले शादियों के पांच शुभ मुहूर्त 4, 5, 9, 10 और 14 दिसंबर को होंगे।
दिसंबर में पड़ने वाले प्रमुख व्रत और त्योहार
विवाह पंचमी
इस दिन भगवान राम और माता सीता के विवाह का स्मरण करते हुए पूजा-अर्चना की जाती है।
चम्मा षष्ठी
इस व्रत में मां चंपेश्वरी की आराधना की जाती है।
मोक्षदा एकादशी
मोक्ष की प्राप्ति के लिए भगवान विष्णु का व्रत रखा जाता है और विधिवत पूजा की जाती है।
दत्तात्रेय जयंती
भगवान दत्तात्रेय को ब्रह्मा, विष्णु और महेश का अवतार माना जाता है। इस दिन भक्त व्रत रखते हैं और भगवान की पूजा करते हैं।
सफला एकादशी
इस दिन भगवान विष्णु की पूजा और व्रत करने से सुख-समृद्धि का वास होता है।
दिसंबर का महत्व
दिसंबर में आने वाले व्रत और त्योहार धार्मिक और सांस्कृतिक दृष्टि से खास माने जाते हैं। यह माह आत्मिक शुद्धि और धार्मिक उत्सवों का अद्भुत संगम प्रस्तुत करता है।