नई दिल्ली,(नेशनल थॉट्स ) – देश में ड्रोन का बूम देखा जा रहा है, कृषि के साथ-साथ ड्रोन का प्रयोग पर औद्योगिक, व्यापारिक, टेली कम्युनिकेशन सेक्टर, माइनिंग सेक्टर, नेशनल हाईवे और हेल्थ सर्विसेज आदि कई अन्य गतिविधियों में भी लगातार बढ़ रहा है। कई-अलग-अलग क्षेत्रों में अब ड्रोन का विस्तार हो रहा है। ऐसे में प्रशिक्षित ड्रोन पायलट की मांग भी लगातार बढ़ रही है। इसी के मद्देनजर अब ड्रोन पायलट के लिए केंद्र सरकार ने नियमों ढील दी है। अब पासपोर्ट की अनिवार्यता नहीं।
ये पहचान पत्र होना जरूरी
इस बीच केंद्र सरकार ने ड्रोन पायलट की तैयारी कर रहे युवाओं को खुशखबरी दी है। देश के नागरिक अब सरकार द्वारा जारी कोई भी पहचान प्रमाण पत्र और निवास प्रमाण पत्र देकर ड्रोन पायलट बन सकते हैं।
केंद्र सरकार ने वायुयान अधिनियम, 1934 (1934 का 22) की धारा 5, धारा 10 की उपधारा 2 और धारा 10ए, 10बी, और 12ए द्वारा प्रदत्त अधिकारों का उपयोग करते हुए नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने ड्रोन पायलटों के लिए नए ड्रोन (संशोधन) नियम 2023 को अधिसूचित किया है।
इस संशोधन के बाद अब यह स्पष्ट कर दिया गया है कि यदि ड्रोन पायलट के पास पासपोर्ट नहीं है, तो रिमोट पायलट प्रमाणपत्र के लिए आवेदन करने के लिए सरकार द्वारा जारी पहचान प्रमाण पत्र और सरकार द्वारा जारी निवास प्रमाण पत्र या वोटर आईडी, राशन कार्ड या ड्राइविंग लाइसेंस को अब स्वीकार किया जा सकता है।
पासपोर्ट होने की शर्त बन रही थी बाधा
विशेष रूप से ग्रामीण भारत के कृषि क्षेत्र में इच्छुक ड्रोन पायलटों के लिए पासपोर्ट होने की शर्त बाधा बन रही थी। देश भर में ड्रोन संचालन को और उदार बनाने, बढ़ावा देने एवं सुविधाजनक बनाने और वर्ष 2030 तक भारत को एक वैश्विक ड्रोन केंद्र बनाने के लिए ही यह कदम उठाया गया है।