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इंदिरा एकादशी आज

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हिंदू धर्म में आश्विन मास की पहली एकादशी के व्रत का बहुत महत्व है। इसे इंदिरा एकादशी के नाम से भी जाना जाता है। यह व्रत भगवान विष्णु को समर्पित है। इस दिन व्रत करने से अनेक पुण्य प्राप्त होते हैं और भगवान विष्णु की विशेष कृपा प्राप्त होती है। इंदिरा एकादशी व्रत हर साल आश्विन माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी के दिन रखा जाता है। इस दिन भगवान विष्णु को प्रसन्न करने के लिए पूजा और व्रत किया जाता है। इससे लोगों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं और उनके जीवन में सुख-समृद्धि आती है।

इंदिरा एकादशी तिथि और मुहूर्त

दृक पंचांग के अनुसार आश्विन माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि 27 सितंबर, शुक्रवार को दोपहर 1:20 बजे शुरू होगी और शनिवार, 28 सितंबर को दोपहर 2:49 बजे समाप्त होगी। ऐसे में उदयातिथि के अनुसार इंदिरा एकादशी व्रत 28 सितंबर, शनिवार को रखा जाएगा और 29 सितंबर,  सुबह 6:13 से 8:36 बजे तक रविवार को पारण किया जाएगा।
एकादशी के दिन भगवान विष्णु की पूजा की जाती है। इस दिन पूजा का शुभ समय शाम 5:23 से 14:52 तक है.। इस पूजा के शुभ समय में ब्रह्म मुहूर्त और विजय मुहूर्त शामिल हैं।

इंदिरा एकादशी की पूजा विधि

इंदिरा एकादशी के दिन प्रात: जल्दी उठें। इस समय भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी को ध्यान और प्रणाम कर दिन की शुरुआत करें। इसके बाद घर की साफ-सफाई करें। दैनिक कार्यों से निवृत्त होने के बाद गंगाजल युक्त पानी से स्नान करें। इस समय आचमन कर स्वयं को शुद्ध करें। इसके बाद पीले रंग के वस्त्र धारण करें। अब सबसे पहले सूर्य देव को जल का अर्घ्य दें। इसके बाद पूजा स्थल पर गंगाजल छिड़ककर शुद्ध करें। अब चौकी पर भगवान विष्णु की प्रतिमा या तस्वीर स्थापित करें। इस समय पंचोपचार कर विधि-विधान से भगवान विष्णु की पूजा करें। पूजा के दौरान भगवान विष्णु को पीले रंग के फल, फूल, हल्दी, केसर, खीर आदि चीजों को अर्पित करें। इस समय विष्णु चालीसा का पाठ और मंत्रों का जप करें। पूजा का समापन ‘ॐ जय जगदीश हरे’ आरती से करें। दिन भर उपवास रखें। संध्याकाल में आरती कर फलाहार करें। रात्रि के पहले प्रहर में जागरण कर भजन-कीर्तन करें। अगले दिन स्नान-ध्यान कर लक्ष्मी नारायण जी की पूजा करें। इसके बाद अन्न दान कर व्रत खोलें।
इंदिरा एकादशी का मंत्र जाप

मन्त्रहीनं क्रियाहीनं भक्तिहीनं जनार्दन। यत्पूजितं मया देव परिपूर्ण तदस्तु मे॥
ॐ श्री विष्णवे नमः। क्षमा याचनाम् समर्पयामि॥

पितरों के लिए विशेष है इंदिरा एकादशी

इंदिरा एकादशी का व्रत रखने से पितरों को मुक्ति मिलती है। श्रीहरि की कृपा से उनको मोक्ष की प्राप्ति हो जाती है। आप इंदिरा एकादशी का व्रत अपने पितरों के लिए रख सकते हैं।

इंदिरा एकादशी का पारण समय

यदि आप इंदिरा एकादशी का व्रत रखना चाहते हैं तो इसका पारण 29 सितंबर रविवार को होगा। पारण का समय सुबह 6 बजकर 13 मिनट से लेकर 8 बजकर 36 मिनट तक है। इस बीच आप कभी भी पारण कर सकते हैं।

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