आगामी 2025 के दिल्ली विधानसभा चुनावों से पहले, भाजपा नेता वीरेंद्र सचदेवा ने आम आदमी पार्टी (AAP) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल को खुला पत्र लिखा। इस पत्र में उन्होंने केजरीवाल से झूठ बोलने और धोखा देने की आदतें छोड़ने का आग्रह किया।
नव वर्ष पर सुधार का आह्वान
संकल्प की अपील: सचदेवा ने कहा कि नए साल के मौके पर लोग बुरी आदतें छोड़ने का संकल्प लेते हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि केजरीवाल भी झूठ बोलने और धोखा देने की आदतें त्यागेंगे।
दिल्लीवासियों की अपेक्षाएं: पत्र में कहा गया कि दिल्ली के लोग उम्मीद कर रहे हैं कि केजरीवाल सार्थक बदलाव लाएंगे और अपने व्यवहार में सुधार करेंगे।
पांच प्रमुख संकल्पों की मांग
वीरेंद्र सचदेवा ने पत्र में अरविंद केजरीवाल से निम्नलिखित संकल्प लेने का आग्रह किया:
झूठे वादे करना बंद करें।
दिल्ली में शराब नीति के लिए जनता से माफी मांगें।
महिलाओं, बुजुर्गों और धार्मिक भावनाओं का सम्मान करें।
मां यमुना की सफाई को लेकर झूठे आश्वासनों के लिए माफी मांगें।
राष्ट्रविरोधी ताकतों से चंदा न लेने और राजनीतिक लाभ के लिए अनैतिक तरीकों से चंदा न लेने की प्रतिज्ञा करें।
भ्रष्टाचार और झूठ की आलोचना
बच्चों से झूठी कसम पर सवाल: सचदेवा ने केजरीवाल पर आरोप लगाया कि उन्होंने झूठी कसम खाकर जनता को धोखा दिया।
यमुना सफाई का मुद्दा: उन्होंने केजरीवाल से यमुना नदी की सफाई पर किए गए झूठे वादों के लिए सार्वजनिक रूप से माफी मांगने को कहा।
भ्रष्टाचार के अपराध: भाजपा नेता ने भ्रष्टाचार को “अक्षम्य अपराध” बताते हुए इसका त्याग करने का आग्रह किया।
आरएसएस को लिखे गए पत्र पर टिप्पणी
सचदेवा का यह पत्र उस समय आया है जब केजरीवाल ने आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत को पत्र लिखकर भाजपा की नीतियों और लोकतंत्र पर उसके प्रभाव को लेकर सवाल उठाए थे।
लोकतंत्र पर प्रभाव: केजरीवाल ने भाजपा पर लोकतंत्र को कमजोर करने के आरोप लगाए थे।
आरएसएस से स्पष्टीकरण: उन्होंने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से इन मुद्दों पर जवाब मांगा था।
सारांश
वीरेंद्र सचदेवा के इस पत्र ने राजनीतिक गर्मी बढ़ा दी है। चुनाव से पहले यह पत्र भाजपा और आप के बीच तीखे आरोप-प्रत्यारोप का संकेत है। अब देखना यह है कि केजरीवाल इस पर क्या प्रतिक्रिया देते हैं।