You Must Grow
India Must Grow

NATIONAL THOUGHTS

A Web Portal Of Positive Journalism 

ज्ञानवापी परिसर में पांचवें दिन ASI टीम का सर्वे जारी, 2 सितंबर तक अदालत में जमा होगी रिपोर्ट

Share This Post

नई दिल्ली (नेशनल थॉट्स) : इलाहाबाद हाई कोर्ट के निर्देश पर ज्ञानवापी परिसर में सुरक्षा की अभेद्य किलेबंदी के बीच लगातार पांचवें दिन मंगलवार को भी भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) टीम का सर्वे कार्य शुरू हो गया है। बता दें वाराणसी की अदालत के आदेश पर हो रहे इस सर्वेक्षण की रिपोर्ट को आगामी 2 सितंबर 2023 तक अदालत में जमा किया जाना है। वहीं आज सर्वे के लिए निर्धारित समय सुबह 08 बजे एएसआई की टीम ज्ञानवापी पहुंच गई।

ASI का सर्वे सोमवार को भी रहा था जारी
इससे पहले वाराणसी के ज्ञानवापी परिसर में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण का वैज्ञानिक सर्वेक्षण सोमवार को भी जारी रहा था। सोमवार सर्वे का काम सुबह शुरू किया गया था जो शाम 5 बजे तक चलता रहा था। सर्वे का कार्य सुचारू रूप से जारी है और आज मंगलवार को इसी क्रम में सर्वे किया जा रहा है।माना जा रहा है कि व्यास जी के तहखाना के साथ गुंबद का सर्वे होगा।

व्यास जी के तहखाना के साथ गुंबद का होगा सर्वे
पांचवें दिन एएसआई की टीम व्यास जी के तहखाने के मलबे की जांच के साथ गुंबदों पर बनी कलाकृतियों की कार्बन कॉपी, परिसर में मिले ताखे, गुंबदों की दो सीढ़ियों के पास बने कलश नुमा नक्काशी का स्कैनिंग, गुंबद इत्यादि का सर्वे कर सकती है। इस बीच सर्वे का कार्य दोपहर 12.30 बजे लंच और नमाज के लिए रोका जाएगा। दोपहर 2.30 बजे से दोबारा सर्वे शुरू होकर शाम 05 बजे तक चलेगा।

इससे पहले ASI टीम ने पश्चिमी दीवार का किया था सर्वे
इससे पहले एएसआई टीम ने पश्चिमी दीवार का सर्वे किया था। दीवार पर बने निशान, रंगाई-पुताई में इस्तेमाल सामग्री, ईंट-पत्थर के टुकड़े व दीवार बनाने में प्रयोग होने वाली सामग्री के नमूने बतौर साक्ष्य जुटाए, मिट्टी के नमूने भी लिए। इसके जरिये भवन निर्माण की अवधि, उम्र आदि की जानकारी हासिल की जाएगी।

2 सितंबर तक अदालत में जमा की जानी है रिपोर्ट
ज्ञात हो, सर्वे पूरा होने के बाद टीम अपनी रिपोर्ट 2 सितंबर 2023 तक अदालत को सौंपेगी। वहीं सर्वे के दौरान पुलिस ने परिसर के आसपास निगरानी बढ़ा दी है। ध्यान रहे अंजुमन इंतजामिया ने सर्वे के आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था लेकिन अदालत ने इस याचिका को खारिज कर दिया था। बाद में सुप्रीम कोर्ट ने भी सर्वेक्षण के फैसले पर रोक लगाने से इंकार कर दिया था।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *