सरकार ने देश में 5जी सेवाएं शुरू करने के लिए कई पहल की हैं। इन पहलों में अन्य बातों के साथ-साथ निम्नलिखित कदम शामिल हैं:
- 5जी मोबाइल सेवाओं के लिए स्पेक्ट्रम की नीलामी।
- समायोजित सकल राजस्व (एजीआर), बैंक गारंटी (बीजी) और ब्याज दरों को तर्कसंगत बनाने हेतु वित्तीय सुधार।
- वर्ष 2022 की नीलामी और उसके बाद प्राप्त स्पेक्ट्रम के लिए स्पेक्ट्रम उपयोग शुल्क को हटाना।
- एसएसीएफए (रेडियो फ्रीक्वेंसी आवंटन पर स्थायी सलाहकार समिति) मंजूरी हेतु प्रक्रिया का सरलीकरण।
- दूरसंचार अवसंरचना की स्थापना के लिए आरओडब्ल्यू (मार्ग का अधिकार) संबंधी अनुमतियों एवं मंजूरी को सुव्यवस्थित करने हेतु पीएम गतिशक्ति संचार पोर्टल और आरओडब्ल्यू संबंधी नियमों का शुभारंभ।
- छोटे सेल एवं दूरसंचार लाइन की स्थापना के लिए स्ट्रीट फर्नीचर के उपयोग हेतु समयबद्ध अनुमति।
देश भर के सभी राज्यों/केन्द्र-शासित प्रदेशों में 5जी सेवाएं शुरू की जा चुकी हैं और वर्तमान में यह सेवा लक्षद्वीप सहित देश के 776 जिलों में से 773 में उपलब्ध है। दिनांक 28.02.2025 तक, देश भर में दूरसंचार सेवा प्रदाताओं (टीएसपी) द्वारा 4.69 लाख 5जी बेस ट्रांसीवर स्टेशन (बीटीएस) स्थापित किए जा चुके हैं।
दूरसंचार सेवा प्रदाताओं (टीएसपी) ने पूरे देश में 5जी सेवाओं का विस्तार किया है और स्पेक्ट्रम नीलामी के लिए आवेदन आमंत्रण नोटिस (एनआईए) में निर्धारित न्यूनतम रोलआउट संबंधी दायित्वों से परे गए हैं। इन दायित्वों से परे मोबाइल सेवाओं का विस्तार टीएसपी के तकनीकी-वाणिज्यिक विचार पर निर्भर करता है।
संचार एवं ग्रामीण विकास राज्यमंत्री डॉ. पेम्मासनी चंद्रशेखर ने यह जानकारी आज लोकसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में दी।